You dont have javascript enabled! Please enable it! दानिश आज़ाद अंसारी - योगी सरकार के इकलौते मुसलमान मंत्री कौन हैं? - Newsdipo
December 23, 2024

दानिश आज़ाद अंसारी – योगी सरकार के इकलौते मुसलमान मंत्री कौन हैं?

0
1648211751985

उत्तर प्रदेश में योगी आदित्यनाथ ने दोबारा मुख्यमंत्री पद की शपथ ली है. उनके साथ 52 मंत्रियों ने शपथ ली जिनमें 2 उप-मुख्यमंत्री, 16 कैबिनेट मंत्री, 14 राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) और 20 राज्य मंत्री शामिल हैं।

उत्तर प्रदेश की आबादी में क़रीब बीस प्रतिशत मुसलमान हैं, जबकि सरकार में सिर्फ़ एक मुसलमान मंत्री हैं. ये हैं उत्तर प्रदेश के बलिया के रहने वाले और अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद से जुड़े रहे दानिश आज़ाद अंसारी।

योगी सरकार की पिछली सरकार में भी सिर्फ़ एक ही मुस्लिम मंत्री थे जिनका नाम मोहसिन रज़ा था।

दानिश आज़ाद अंसारी 32 साल के हैं और लखनऊ यूनिवर्सिटी में एबीवीपी से जुड़कर छात्र राजनीति करते रहे हैं।

दानिश आज़ाद मूल रूप से बलिया के अपायल गांव के रहने वाले हैं।

लखनऊ यूनिवर्सिटी से पढ़ाई

दानिश के रिश्ते के भाई पिंटू ख़ान ने बीबीसी से बात करते हुए बताया, “हमारे दादा मोहम्मद ताहा अंसारी सुखपुरा गांव के जूनियर हाई स्कूल में शिक्षक थे और उनकी आसपास के गांवों में काफ़ी प्रतिष्ठा थी. दादा का असर ही दानिश आज़ाद पर पड़ा है और उन्हें शुरुआती पहचान उन्हीं के नाम से मिली है.”।

दानिश के पिता का नाम समीउल्लाह अंसारी है और वो भी बलिया में ही रहते हैं. उन्होंने प्रारंभिक शिक्षा अपने गांव अपायल के प्राइमरी स्कूल से ही हासिल की थी।

बलिया से बारहवीं तक की पढ़ाई पूरी करने के बाद दानिश अंसारी ने साल 2006 में लखनऊ यूनिवर्सिटी से बीकॉम किया. यहीं से उन्होंने मॉस्टर ऑफ़ क्वालिटी मैनेजमेंट और मॉस्टर ऑफ़ पब्लिक एडमिनिस्ट्रेशन की पढ़ाई की।

दानिश अंसारी जनवरी 2011 में छात्र संगठन एबीवीपी के साथ जुड़ गए थे. दानिश आज़ाद ने इस बार चुनाव नहीं लड़ा है. वो किसी सदन के सदस्य नहीं हैं।

दानिश को जानने वाले बताते हैं कि यहीं से वो राजनीति में सक्रिय हुए और उनके नाम के साथ ‘आज़ाद’ जुड़ गया क्योंकि वो अपने विचार पूरी आज़ादी से व्यक्त करते थे।

पिंटू ख़ान बताते हैं, “एबीवीपी से जुड़ने के बाद दानिश ने अपनी पहचान बनानी शुरू की. वो खुलकर बोलते थे और लोगों को प्रभावित करते थे. यहीं से उनके नाम के साथ आज़ाद भी जुड़ गया.”।

पारंपरिक मुसलमान परिवार से हैं दानिश

दानिश अपने पिता के इकलौते बेटे हैं और शादीशुदा हैं. उनकी एक बहन भी है जिसकी शादी हो चुकी है. 32 साल के दानिश की अभी कोई संतान नहीं है।

दानिश एक पारंपरिक मुसलमान परिवार से हैं जिसकी अपने क्षेत्र में अच्छी पहचान रही है. दानिश के माता-पिता दोनों ही हज कर चुके हैं और धार्मिक हैं।

मुसलमान युवाओं के बीच आरएसएस का प्रचार

दानिश ने मुसलमान युवाओं के बीच राष्ट्रवादी पार्टी बीजेपी और हिंदूवादी संगठन राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के विचारों का प्रसार करना शुरू किया।

उन्होंने मुसलमान युवाओं के बीच संघ की विचारधारा को फैलाने के लिए काम किया और इसी से उनकी पहचान बनती चली गई।उन्हें पार्टी के अल्पसंख्यक मोर्चा का प्रदेश महामंत्री भी बनाया गया था।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *