उत्तराखंड में पिछले 1 सप्ताह के दौरान सरकार की तरफ से तीसरी बड़ी कार्रवाई की गई है. इस बार पुरोला के नगर पंचायत अध्यक्ष हरिमोहन सिंह नेगी को सरकार ने हटाने के निर्देश जारी किए हैं. उन पर वित्तीय अनियमितताओं के आरोप लगे थे.
देहरादून: उत्तराखंड सरकार अब ऐसे तमाम मामलों पर तेजी से कार्रवाई करने में जुट गई है, जिन पर जांच पूरी हो चुकी है और उसके बावजूद संबंधित अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई नहीं हो रही थी. इसी क्रम में सरकार ने पुरोला नगर पंचायत अध्यक्ष हरिमोहन नेगी को हटाने के निर्देश जारी किए हैं. हरि मोहन नेगी पर वित्तीय अनियमितताओं के कई आरोप लगे हैं. खास बात यह है कि कोरोना काल के दौरान भी हुई खरीद में अनियमितता पाए जाने की पुष्टि विभिन्न जांचों में हुई है.
दरअसल पुरोला नगर पंचायत स्तर पर ही तमाम वित्तीय अनियमितताओं को लेकर शिकायतें मिल रही थी. जिसके बाद इन शिकायतों के आधार पर जिलाधिकारी स्तर पर भी जांच की गई. इसके बाद निदेशालय और शासन स्तर पर भी नगर पंचायत में हुए कामों की जांच की गई. जिसमें गड़बड़ियों की पुष्टि हुई है. शासन ने इन सभी जांचों पर कार्रवाई करते हुए नगर पंचायत अध्यक्ष हरि मोहन नेगी को हटाने के आदेश दिए हैं. साथ ही इस सीट को रिक्त कर दिया गया है.
इससे पहले राज्य सरकार की तरफ से रुड़की के मेयर गौरव गोयल का भी इस्तीफा लिया गया है. रुड़की के मेयर रहे गौरव गोयल पर भी तमाम वित्तीय अनियमितताओं के आरोप थे. जिसके बाद गौरव गोयल का इस्तीफा ले लिया गया था. जिसके बाद से ही रुड़की सीट को भी रिक्त घोषित किया गया है. इसी हफ्ते सरकार की तरफ से तीसरी कार्रवाई बाल विकास विभाग में अधिकारी लक्ष्मी टम्टा पर की गई थी. लक्ष्मी टम्टा पर गलत दस्तावेज के आधार पर नियुक्ति लेने का आरोप था. इस मामले में भी सरकार ने तुरंत फैसला लेते हुए बाल विकास अधिकारी लक्ष्मी टम्टा को हटाने के निर्देश दिए थे.