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उत्तराखण्ड: पर्वतीय रूट पर गाड़ी चलाने वाले सावधान! आएटीए के नए नियम लागू –

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Speed limit in uttarakhand: गढ़वाल मंडल के पर्वतीय क्षेत्रों के लिए पहली बार किया गया गति सीमा का निर्धारण, सड़क दुघर्टनाओं को रोकने में मिलेगी मदद….

बीते दिनों राजधानी देहरादून में आयोजित हुई संभागीय परिवहन प्राधिकरण आरटीए की बैठक में देहरादून संभाग में परिवहन सेवाओं को दुरुस्त करने हेतु कई महत्वपूर्ण फैसले लिए गए। इनमें न केवल गढ़वाल मंडल के लगभग 84 पर्वतीय रूटों पर निजी बसों के साथ ही भार वाहनों के संचालन करने का फैसला शामिल था बल्कि सड़क सुरक्षा को दृष्टिगत रखते हुए गढ़वाल मंडल के पर्वतीय क्षेत्रों के लिए वाहनों की अधिकतम गति सीमा भी तय की गई। बता दें कि यह पहली बार है कि जब मंडलीय परिवहन प्राधिकरण (आरटीए) ने गढ़वाल मंडल के पर्वतीय मार्गों पर वाहनों के लिए अधिकतम गति सीमा निर्धारित की है। इस फैसले का सीधा असर गढ़वाल मंडल के पर्वतीय जिलों चमोली, टिहरी और उत्तरकाशी जिलों के साथ-साथ देहरादून के पहाड़ी मार्गों पर भी पड़ेगा।

बता दें कि संभागीय परिवहन प्राधिकरण (आरटीए) ने बीते दिनों संभागीय आयुक्त सुशील कुमार के नेतृत्व में ईसी रोड स्थित अपने कैंप कार्यालय में आयोजित बैठक में पर्वतीय क्षेत्रों के लिए वाहनों की अधिकतम गति सीमा निर्धारित करते हुए बताया कि विभिन्न वाहनों की विशिष्ट विशेषताओं के अनुसार गति सीमा को अनुकूलित करने के लिए, अधिकारियों ने हाल ही में नए नियम लागू किए हैं। जिनसे सड़क दुघर्टनाओं को रोकने में काफी मदद मिलेगी। संभागीय आयुक्त सुशील कुमार ने बताया कि इसी के दृष्टिगत पर्वतीय क्षेत्रों में दोपहिया वाहनों के लिए 20 किमी प्रति घंटे की अधिकतम गति सीमा निर्धारित की गई है जबकि कार सहित सभी चौपहिया वाहनों के लिए 45 किमी प्रति घंटे की अधिकतम रफ़्तार तय की गई है।

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